उत्तराखंड देहरादूनVolvo bus fares tripled

उत्तराखंड: वॉल्वो बस का सफर हवाई जहाज से महंगा, किराए में 3 गुना तक बढ़ोतरी

बस सेवा का किराया बढ़ने के बाद देहरादून से दिल्ली जाने के लिए 2286 रुपये खर्च करने होंगे, जबकि जबकि देहरादून से दिल्ली जाने के लिए हवाई जहाज का किराया सिर्फ 2037 रुपये है...आगे जानिए हर डिटेल

Uttarakhand Volvo Bus Fare: Volvo bus fares tripled
Image: Volvo bus fares tripled (Source: Social Media)

देहरादून: कोरोना काल में जिंदगी मुश्किल हो गई है। परेशानियां पहले ही काफी थीं और अब उत्तराखंड में बसों से सफर करना भी महंगा हो गया है। उत्तराखंड सरकार ने बसों के किराये में दो से तीन गुणा तक बढ़ोतरी की है। वॉल्वो बस का किराया तो हवाई जहाज के किराये से भी महंगा हो गया है। अब देहरादून से दिल्ली जाने के लिए 2286 रुपये खर्च करने होंगे, जबकि जबकि देहरादून से दिल्ली जाने के लिए हवाई जहाज का किराया सिर्फ 2037 रुपये है। उत्तराखंड में एक जगह से दूसरी जगह जाने के लिए भी दोगुने से तीन गुणा तक ज्यादा रुपये खर्च करने पड़ेंगे। पहले देहरादून से बागेश्वर तक का किराया 596 रुपये था, अब ये बढ़कर 1196 रुपये हो गया है। पिछले दिनों 50 प्रतिशत क्षमता के साथ सिटी बस चलाने की अनुमति प्रदान की गई थी। अब देहरादून में भी सिटी बसों के संचालन को अनुमति मिल गई है।

ये भी पढ़ें:

यह भी पढ़ें - उत्तराखंड: गुरुग्राम से लौटे बेटे ने पिता को बेरहमी से मार डाला, खुद भी खाया जहर
बसों के किराये में कितनी बढ़ोतरी की गई है, ये भी बताते हैं। नॉन-डीलक्स बस के किराये में मैदानी क्षेत्रों के लिए 1.05 से बढ़ाकर 2.10 रुपये प्रति किमी की दर से बढ़ोतरी की गई है। पर्वतीय क्षेत्रों में चलने वाली साधारण बसों का किराया 1.50 से बढ़ाकर 3 रुपये प्रति किमी कर दिया गया है। सिटी बस में सफर के लिए भी दोगुना किराया देना होगा। सिटी बस की किराया दर में 7 रुपये से लेकर 40 रुपये तक की बढ़ोतरी हुई है। पहले दो किलोमीटर तक के सफर के लिए 7 रुपये किराया देना होता था, अब ये 14 रुपये कर दिया गया है। इसी तरह अलग-अलग श्रेणी में 40 रुपये तक बढ़ाए गए हैं। एसी-वॉल्वो कैटेगरी में भी डेढ़ गुणा से तीन गुणा तक किराया बढ़ाया गया है। किराये में बढ़ोतरी से लोग खुश नहीं हैं, हालांकि राज्य सरकार ने कहा है कि किराये में वृद्धि महामारी अधिनियम के प्रभावी रहने तक लागू रहेगी। एक्ट हटते ही बढ़ा किराया कम हो जाएगा। कोविड-19 के चलते बसों में सोशल डिस्टेसिंग के मानकों के अनुसार 50 प्रतिशत यात्रियों को ही बैठाया जाएगा।