उत्तराखंड पिथौरागढ़Vehicle movement started on Tawaghat-Sobla NH

गजब: उत्तराखंड के इस मार्ग को खोलने में लगा दो महीने का वक्त, 30 गांवों को मिली राहत

पिछले दो महीने से तवाघाट-सोबला एनएच क्षतिग्रस्त था, हाईवे पर गाड़ियों की आवाजाही नहीं हो रही थी। आस-पास के 30 से ज्यादा गांवों के लोग परेशान थे। आगे पढ़िए पूरी खबर

Pithoragarh News: Vehicle movement started on Tawaghat-Sobla NH
Image: Vehicle movement started on Tawaghat-Sobla NH (Source: Social Media)

पिथौरागढ़: पिथौरागढ़ के 30 से ज्यादा गांवों का इंतजार रविवार को खत्म हो गया। तवाघाट-सोबला एनएच 60 दिन के बाद गाड़ियों की आवाजाही के लिए खोल दिया गया। सीमांत जिले की ये रोड सामरिक दृष्टि से बेहद अहम है। पिछले दो महीने से तवाघाट-सोबला एनएच क्षतिग्रस्त था, हाईवे पर गाड़ियों की आवाजाही नहीं हो रही थी। आस-पास के 30 से ज्यादा गांवों के लोग परेशान थे, क्योंकि रोड बंद होने की वजह से गांव का मुख्यालय से संपर्क टूट गया था। खैर दो महीने का ये इंतजार आखिरकार खत्म हो गया। रविवार को रोड को आवाजाही के लिए खोल दिया गया है। सड़क के खुलने से दारमा और चौदास वैली के 30 से ज्यादा गांवों के ग्रामीणों ने राहत की सांस ली। तवाघाट-सोबला एनएच चौदास और दारमा वैली के 30 से ज्यादा गांवों को जोड़ने वाली मुख्य सड़क है। मानसून में भारी बारिश के बाद रोड बंद हो गई थी। भूस्खलन की वजह से हाईवे को नुकसान पहुंचा था। प्रमुख सड़क बंद होने क्षेत्र की पांच हजार से ज्यादा की आबादी का शेष दुनिया से सड़क संपर्क कट गया था। आगे पढ़िए

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कुल मिलाकर लोग एक अघोषित लॉकडाउन का सामना कर रहे थे। ग्रामीणों को उम्मीद थी कि सड़क की कार्यदायी संस्था बीआरओ उनकी परेशानी समझेगी और सड़क को जल्द खोलकर उन्हें राहत पहुंचाएगी, लेकिन ऐसा हुआ नहीं। लोगों की परेशानी बढ़ती जा रही थी। रोड खुलने का इंतजार करते-करते 60 दिन हो गए। सड़क बंद होने पर सड़क निर्माण की कार्यदायी संस्था ने बजट का रोना रोकर अपनी जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लिया। बीआरओ ने हाथ खड़े किए तो सड़क खोलने की जिम्मेदारी लोनिवि को दी गई। लोक निर्माण विभाग ने इस जिम्मेदारी को बखूबी निभाया भी। लोनिवि ने सड़क खोलने के लिए 70 मजदूरों को काम पर लगाया, जिन्होंने दिन-रात मेहनत कर के आखिरकार रोड को आवाजाही के लिए खोल दिया। रविवार तक रोड से मलबा और बोल्डर हटा दिया गया। रविवार को जब सड़क पर वाहनों की आवाजाही शुरू हुई तो लोग खुशी से झूम उठे। लोगों ने लोनिवि और सड़क खोलने वाले मजदूरों का आभार जताया।