उत्तराखंड हरिद्वारOPD seal of haridwar colonels hospital

उत्तराखंड: अस्पताल में कोरोना के नाम पर लाखों की वसूली, DM ने करवाई OPD सील

छापेमारी के दौरान डीएम मरीजों के परिजनों से मिले तो कई बातें पता चलीं। तीमारदारों ने बताया कि अस्पताल ने कोविड जांच कराए बिना ही मरीजों का इलाज शुरू कर दिया।

Coronavirus in uttarakhand: OPD seal of haridwar colonels hospital
Image: OPD seal of haridwar colonels hospital (Source: Social Media)

हरिद्वार: कोरोना काल में लोगों की जान पर बनी हुई है, तो वहीं कुछ अस्पतालों ने इस आपदा में भी अवसर खोज निकाला है। आपको याद होगा कुछ दिन पहले हरिद्वार के एक अस्पताल ने गुर्दे की बीमारी से जूझ रहे एक मरीज को कोरोना पेशेंट बताकर आईसीयू में एडमिट कर दिया था, परिजनों को लंबा-चौड़ा बिल थमा दिया था। अब यहां ऐसा ही एक मामला दोबारा सामने आया है। रुड़की के एक अस्पताल में बिना कोरोना जांच कराए मरीजों से लाखों की वसूली की जा रही थी। बिना अनुमति कोविड मरीजों को भर्ती किए जाने पर प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की टीम ने अस्पताल की ओपीडी को सील कर दिया है। अस्पताल के दस्तावेज और सीसीटीवी की डीबीआर भी जब्त की गई है। अस्पताल में कई गंभीर अनियमितताएं मिली हैं। मामला कर्नल्स अस्पताल से जुड़ा है। प्रशासन को इस अस्पताल के खिलाफ कई शिकायतें मिली थीं। जिनमें बताया गया कि अस्पताल प्रशासन इलाज के नाम पर मरीजों से लाखों रुपये वसूल रहा है। शनिवार को डीएम सी. रविशंकर ने अस्पताल में छापा मारा।

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इस दौरान सीएमओ हरिद्वार डॉ. एसके झा, ज्वाइंट मजिस्ट्रेट नमामि बंसल और एसपी देहात प्रमेंद्र डोभाल भी साथ थे। प्रशासनिक अधिकारियों को देख अस्पताल स्टाफ में हड़कंप मच गया। छापेमारी के दौरान प्रशासन की टीम ने अस्पताल में भर्ती मरीजों के संबंध में जानकारी हासिल की। उनसे बातचीत की। इस दौरान अस्पताल में छह मरीज भर्ती थे, जिनमें से एक में कोविड के लक्षण थे, लेकिन अस्पताल ने मरीज की कोविड जांच नहीं कराई थी। डीएम ने मरीजों के परिजनों से बात की तो पीड़ितों बताया कि अस्पताल प्रबंधन ने बिना जांच के मरीजों को कोविड बताकर उनका इलाज शुरू कर दिया है। हालत बिगड़ने पर मरीजों को रेफर कर दिया जाता है। बहरहाल प्रशासन ने अस्पताल की ओपीडी सील कर दी है। हालांकि जो लोग पहले से अस्पताल में एडमिट हैं, उनका इलाज चलता रहेगा। दो मरीजों के तीमारदारों ने इलाज के नाम पर लाखों की वसूली करने की बात भी प्रशासन को बताई है। इस पर डीएम ने अस्पताल के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के निर्देश दिए हैं।