उत्तराखंड ऋषिकेशSmuggling of sandalwood trees in Uttarakhand Rajaji Tiger Reserve

उत्तराखंड में बेशकीमती चंदन के पेड़ काटकर ले गया ‘पुष्पा’, किसी को भनक तक नहीं लगी!

उत्तराखंड के राजाजी टाइगर रिजर्व से तस्करों ने चंदन के पेड़ों पर हाथ साफ कर दिया। सवाल ये है कि आखिर ऐसी बड़ी लापरवाही कैसे हो गई।

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Image: Smuggling of sandalwood trees in Uttarakhand Rajaji Tiger Reserve (Source: Social Media)

ऋषिकेश: उत्तराखंड के राजाजी नेशनल पार्क से चंदन तस्कर चंदन के पेड़ काटकर ले गए और हैरानी की बात है कि किसी को इस बाबत खबर तक नहीं लगी।

Uttarakhand Rajaji Tiger Reserve sandalwood smuggling

जब मामले का पता चला तो अफसरों के हाथ पांव फूल गए। अब राजाजी टाइगर रिजर्व क्षेत्र के जंगल से चंदन के पेड़ काटने के मामले में सख्त कदम उठाते हुए पार्क निदेशक ने बीट अधिकारी को निलंबित और क्षेत्र के वन दारोगा को मुख्यालय अटैच किया है। आरोप है कि चंदन तस्करों ने स्वर्गाश्रम क्षेत्र के बाघ खाला के पास राजाजी टाइगर रिजर्व पार्क के अंदर घुसकर चंदन के पेड़ों पर खुलेआम आरी चला दी। मौके पर चंदन के पेड़ों के कटने के सबूत मौजूद हैं। दर्जनों चंदन के पेड़ पार्क क्षेत्र के अंदर कटे हुए पड़े हैं। कई पेड़ों की डाट भी मौके पर मौजूद हैं। आगे पढ़िए

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इतना सब कुछ होने के बावजूद पार्क प्रशासन तस्करों की इस कार्रवाई से बेखबर रहा? बता दें कि सिक्योरिटी के बावजूद लक्ष्मण झूला की क्षेत्र के जंगल से तस्करों ने नौ चंदन के पेड़ काटे थे। सवाल उठता है कि सुरक्षा के बावजूद तस्करों ने आखिर पेड़ कैसे काटे।दरअसल राजाजी पार्क क्षेत्र की लक्ष्मण झूला बीट में चंदन के पेड़ काटने के मामले में वन्य जीव प्रतिपालक चीला प्रशांत हिन्दवाण जांच अधिकारी की रिपोर्ट पर मार्क निदेशक डा. संकेत बडोला ने बीट अधिकारी वन आरक्षी जगदीश सिंह को लापरवाही का दोषी पाते हुए निलंबित किया है। वहीं वन दारोगा हरपाल सिंह गुसाईं को प्रथम दृष्टया लापरवाही का दोषी पाते हुए वन्य जीव प्रतिपालक राजाजी टाइगर रिजर्व मुख्यालय से सम्बद्ध किया गया। दीपावली के वक्त लक्ष्मण झूला की क्षेत्र के जंगल से तस्करों ने नौ चंदन के पेड़ काट दिए थे। इसकी जांच पार्क निदेशक की ओर से वन्यजीव प्रतिपालक चीला को सौंपी गई थी। इस मामले में अभी आरोपित फरार चल रहे हैं।