रुद्रप्रयाग: आतंकी हमले में रुद्रप्रयाग जिले के सूबेदार आनंद सिंह रावत भी शहीद हुए है, उनकी पत्नी और बच्चे देहरादून में रहते हैं जबकि उनकी मां और बड़े भाई अपने परिवार के साथ गाँव में रहते है। पार्थिव शरीर को सेना द्वारा गांव लाया जाएगा जहाँ पर उन्हें अंतिम विदाई दी जाएगी।
Anand Singh Rawat Martyred in Kathua Terrorist Attack
मंगलवार का दिन उत्तराखंड के लिए अमंगल साबित हुआ, सोमवार को जम्मू कश्मीर में हुए आतंकी हमले में एक साथ पांच जवानों के शहीद होने से पूरे प्रदेश में शोक की लहर दौड़ पड़ी है। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने पांचों जांबाजों की मौत पर शोक व्यक्त किया है। पांच जवानों में से एक सूबेदार आनंद सिंह थे, जो रुद्रप्रयाग जिले के कांडा भरदार गांव के निवासी थे। सूबेदार आनंद सिंह रावत के शहीद होने की खबर मिलते ही उनके पैतृक गांव में मातम छा गया है, हर कोई शहीद की वीरता को सम्मान देने के लिए उनके गांव पहुँच रहे है।
दो बेटों के सिर से उठा पिता का साया
देश की रक्षा के लिए जम्मू-कश्मीर में 22 गढ़वाल राइफल में तैनात 41 वर्षीय नायब सूबेदार आनंद सिंह रावत आतंकवादियों के हमले में शहीद हो गए। शहीद आनंद सिंह छह महीने पहले ही अपने परिवार से मिलने के लिए देहरादून आए थे और फिर कुछ समय उन्होंने गांव में भी बिताया था। आनंद सिंह रावत ने वर्ष 2001 में सेना में भर्ती होकर देश की सेवा शुरू की थी। उनकी पत्नी विजया रावत (38) और उनके दो बेटे, 16 वर्षीय मनीष और 13 वर्षीय अंशुल, वर्तमान में देहरादून के मियांवाला शिवलोक कॉलोनी के पास रहते हैं। वहीं शहीद की मां 70 वर्षीय मोली देवी और उनका बड़ा भाई कुंदन सिंह रावत गांव कांडा में रहते हैं। आज शहीद की पत्नी और उनके बेटों को गाँव लाया गया जबकि शहीद का पार्थिव शरीर सेना द्वारा लाया जाएगा और फिर उनके पैतृक गांव में उन्हें अंतिम विदाई दी जाएगी।