उत्तराखंड नैनीताल300 employees want leave from civic election duty

उत्तराखंड: निकाय चुनाव ड्यूटी से छुट्टी चाहते हैं 300 कर्मचारी, बता रहे ये कारण

एक महिला प्रवक्ता का कहना है उनको छह माह की बेटी को दूध पिलाना होता है। ऐसे में उसकी ड्यूटी हटाई जाए। एक ने लिखा है कि उसके गर्भाशय में फ़ाइब्रॉइड है जिससे पीरियड्य में उसे काफी दिक्कत होती है। ऐसे में उसकी ड्यूटी हटाई जाए।

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Image: 300 employees want leave from civic election duty (Source: Social Media)

नैनीताल: निकाय चुनाव ड्यूटी से लगभग 300 कर्मचारियों ने अपना नाम हटाने के लिए आवेदन किया है। इन कर्मचारियों ने आवेदन पत्रों में अलग-अलग कारण बताए हैं. जिनमें से किसी ने बच्चे को दूध पिलाने तथा किसी ने पीरियड्स के टाइम उनकी दिक्कतों का कारण बताकर उन्हें चुनाव ड्यूटी से हटाने का आवेदन किया है। लेकिन ADM नैनीताल और प्रभारी निकाय चुनाव कार्मिक पीआर चौहान ने कहा कि इनमें से केवल गंभीर समस्याओं वालों को ही चुनाव ड्यूटी से मुक्त किया जाएगा।

300 employees want leave from civic election duty

उत्तराखंड में आगामी 23 जानकारी को नगर निकाय चुनाव के लिए मतदान होना है। उसके बाद 25 जनवरी को इन चुनावों की मतगणना होगी। नैनीताल जनपद के अंतर्गत सात नगर निकायों में चुनाव होने हैं, जिनमें ड्यूटी के लिए करीब 1900 कर्मचारी लगाए गए हैं। जिनमें से कई कर्मचारी ऐसे भी हैं जो चुनाव ड्यूटी से उनका नाम हटवाने के लिए अलग-अलग कारण बता रहे हैं।

कर्मचारियों ने ये बताए कारण

हल्द्वानी की एक महिला प्रवक्ता का कहना है की उनको अपनी छह माह की बेटी को दूध पिलाना होता है। ऐसे में उसकी चुनाव ड्यूटी हटाई जाए। एक महिला कर्मचारी ने लिखा है कि उसके गर्भाशय में फ़ाइब्रॉइड है जिस कारण उसे पीरियड्य में काफी दिक्कत होती है। इस कारण उसकी चुनाव ड्यूटी हटाई जाए। वहीं एक शिक्षक का कहना है 19 जनवरी को उनको अपनी बेटी को परीक्षा दिलाने ले जाना है। वरना उनकी बेटी परीक्षा नहीं दे पाएगी। एक अन्य शिक्षक ने कहा है कि उन्हें किसी आवश्यक कार्य के चलते गाजियाबाद में अकेले रह रहे अपने माता- पिता के पास जाना है।

केवल गंभीर समस्या वालों को मिलेगी छुट्टी

एडीएम नैनीताल एवं प्रभारी निकाय चुनाव कार्मिक पीआर चौहान ने बताया कि जिन कर्मचारियों ने उनकी चुनाव ड्यूटी हटाने के लिए आवेदन किया है. उनमें से केवल उन्हीं लोगों का नाम ड्यूटी से हटाया जाएगा जिनको कोई गंभीर समस्या है। बाकि लोगों के आवेदन पत्रों को रिजेक्ट किया जाएगा.