उत्तराखंड ऋषिकेशCoronavirus Uttarakhand:Aiims rishikesh doctor speaks about Coronavirus infection

उत्तराखंड: एम्स ऋषिकेश के पद्मश्री डॉक्टर ने किया आगाह, कोरोना को लेकर बताई बड़ी बातें

कोरोना को लेकर एम्स ऋषिकेश (Aiims rishikesh) के निदेशक पद्मश्री प्रो. रविकांत ने चौंकाने वाली बातें बताई हैं। देशभर के लोगों को ये बातें जरूर पढ़नी चाहिए

Coronavirus Uttarakhand: Coronavirus Uttarakhand:Aiims rishikesh doctor speaks about Coronavirus infection
Image: Coronavirus Uttarakhand:Aiims rishikesh doctor speaks about Coronavirus infection (Source: Social Media)

ऋषिकेश: 14 अप्रैल तक लॉकडाउन है। हमारी तरह आप भी कोरोना का कहर थमने का इंतजार कर रहे होंगे। लॉकडाउन खत्म होने का इंतजार कर रहे होंगे, ताकि एक बार फिर से नॉर्मल लाइफ जी सकें, लेकिन एम्स ऋषिकेश (Aiims rishikesh) के निदेशक की मानें तो फिलहाल ऐसा हो पाना संभव नहीं है। आपको उनकी एक बात गौर से पढ़नी चाहिए, ताकि आप इस बीमारी को हल्के में न लें। ऐसा इसलिए क्योंकि जब पद्मश्री सम्मान से सम्मानित हो चुका एक डॉक्टर ये बात कह रहा है, तो वास्तव में ध्यान देना जरूरी है। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) ऋषिकेश के निदेशक प्रो. रविकांत पद्मश्री अवॉर्डी हैं। जागरण के मुताबिक उनका कहना है कि कोरोना वायरस का संक्रमण कुछ महीनों में खत्म नहीं होगा। यह लंबे समय तक रहेगा और यही सच्चाई है। पद्मश्री प्रो. रविकांत का ने कहा कि कोरोना वायरस का संक्रमण कुछ महीने में खत्म नहीं होगा। इसलिए हमें पूरी सतर्कता बरतनी होगी। आगे बी पढ़िए कुछ खास बातें

ये भी पढ़ें:

यह भी पढ़ें - सावधान उत्तराखंड...सब्जी के ट्रकों में भर-भरकर पहाड़ पहुंच रहे हैं जमाती!
पद्मश्री प्रो. रविकांत का कहना है कि हमें हर हाल में लॉकडाउन का पालन करना होगा। ताकि हम अपने साथ-साथ समाज की भी सुरक्षा कर सकें। प्रो. रविकांत ने कहा कि कोविड-19 एक संक्रामक रोग है। जो नए तरह के विषाणु कोरोना वायरस से आया है। यह किसी जानवर से मनुष्य में आया है, इसलिए इसके लिए लोगों में पहले से रोग प्रतिरोधक क्षमता नहीं है। एक या डेढ़ साल बाद हार्ड इम्युनिटी डेवलप हो जाने के बाद हमारी पूरी आबादी इससे इम्यून हो जाएगी। तब हम इसे भी सामान्य सर्दी-जुकाम की तरह ले सकेंगे, लेकिन ऐसा होने में अभी वक्त लगेगा। इस वक्त हमें बुजुर्गों को और कम रोग प्रतिरोधक क्षमता वाले लोगों की ज्यादा देखभाल करनी चाहिए। उनका आइसोलेशन जरूरी है। पद्मश्री प्रो. रविकांत ने कोरोना को लेकर और भी कई जरूरी बातें बताई। आगे पढ़िए

ये भी पढ़ें:

यह भी पढ़ें - उत्तराखंड: लॉकडाउन का उल्लंघन करने के आरोप में अब तक 1800 लोग गिरफ्तार
एम्स ऋषिकेश (Aiims rishikesh) के पद्मश्री प्रो. रविकांत ने कहा कि कोरोना वायरस एक अत्यंत सूक्ष्म विषाणु है, जो कि एक बाल के 1700वें हिस्से के बराबर है। इसी वजह से ये शरीर में आसानी से पहुंच जाता है। इंफेक्शन से बचाव के लिए लोग एन-95 और टिपल लेयर सर्जिकल मास्क इस्तेमाल कर रहे हैं, लेकिन इसका गलत तरीके से इस्तेमाल कोरोना संक्रमण की वजह भी बन सकता है। 80 प्रतिशत लोगों में इस वायरस के संक्रमण के लक्षण इतने हल्के होते हैं कि उनका पता भी नहीं चल पाता, लेकिन इनसे भी संक्रमण दूसरे लोगों में तेजी से फैल सकता है, इसलिए सतर्कता जरूरी है। कोरोना से बचाव के लिए सोशल डिस्टेंसिंग सबसे कारगर उपाय है। इसलिए सोशल डिस्टेंस बनाए रखें। हाथों को साबुन-पानी से आधा मिनट तक अच्छी तरह धोएं। इन जरूरी बातों का ध्यान रखकर कोरोना को हराया जा सकता है।