उत्तराखंड देहरादूनpremchand agrawal about about liquor shops in Uttarakhand

उत्तराखंड विधानसभा अध्यक्ष ने किया शराब की दुकानें खोलने का विरोध..बताई बड़ी बातें

विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद्र अग्रवाल के मुताबिक इससे कोरोना वॉरियर्स की मेहनत बेकार जा सकती है। इसलिए सरकार को इस आदेश पर एक बार फिर से विचार करना चाहिए।

Uttarakhand liquor shop: premchand agrawal about about liquor shops in Uttarakhand
Image: premchand agrawal about about liquor shops in Uttarakhand (Source: Social Media)

देहरादून: लॉकडाउन के 40 दिनों के बाद उत्तराखंड में शराब की दुकानें खुली हैं। देखने में आया है कि जगह जगह है सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ाई गई। जाहिर सी बात है कि ऐसे में बड़ा खतरा पैदा हो सकता है। इस बीच विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद्र अग्रवाल का कहना है कि इससे कोरोनावायरस का संक्रमण बढ़ सकता है। जी हां एक न्यूज़ रिपोर्ट के मुताबिक विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद्र अग्रवाल ने कहा है कि सरकार को रेवेन्यू से ज्यादा जनता की सेहत का ध्यान रखना होगा। देखने में आया है कि शराब की दुकानों में जमकर भीड़ लगी और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं किया गया। विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद्र अग्रवाल के मुताबिक इससे कोरोना वॉरियर्स की मेहनत बेकार जा सकती है। इसलिए सरकार को इस आदेश पर एक बार फिर से विचार करना चाहिए। उत्तराखंड में केंद्र सरकार की गाइडलाइन के अनुसार 4 मई यानि सोमवार से शराब की दुकानें खोलने का निर्णय लिया गया था। आगे आपको वो 10 नियम पढ़ने जरूरी हैं, जिनका पालन नहीं हुआ तो ठेका बंद भी हो सकता है।

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ये हैं निर्देश
1- दुकानों के अंदर विक्रेताओं के लिए और बाहर खरीददार के लिए सैनिटाइजर की व्यवस्था की जाए।
2- दुकान परिसर के अंदर सैनिटाइजेशन की व्यवस्था की जाएगी।
3- सभी सेल्समैन ग्लव्स और मास्क आवश्यक रूप से पहनेंगे।
4- सिर्फ अधिकृत विक्रेता ही दुकान के अंदर कार्य करेंगे इसका अनुमोदन अधिकारी द्वारा किया जाएगा।
5- पांच लोगों में प्रत्येक के बीच छह फीट की दूरी और छठवां व्यक्ति 10 फीट की दूरी पर होगा।
6- प्रत्येक दुकान के बाहर रेट लिस्ट व केंद्र सरकार की गाइड लाइन अवश्य लिखी जाएंगी।
7- एसपी सिटी श्वेता चौबे ने चेतावनी दी है कि यदि शराब ठेकों पर सोशल डिस्टेंस की अनदेखी हुई तो ठेका संचालक के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा।
8- कानून व्यवस्था भंग होने का खतरा हुआ तो ठेके को बंद कराया जाएगा।
9- यदि नियमों की अनदेखी होगी तो ठेका संचालक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी।
10- यदि कोई नियमों तोड़ने की कोशिश करेगा तो उस पर भी कार्रवाई होगी।