उत्तराखंड पिथौरागढ़Sarthak Joshi of Pithoragarh cleared the NEET exam

उत्तराखंड: प्रशासनिक अधिकारी थे दादा, पोते ने भी कर दिया NEET में टॉप..बधाई दें

सार्थक (Pithoragarh Sarthak Joshi NEET) को मेहनत करने और कभी हार न मानने की सीख अपने दादा एनडी जोशी से मिली। जो लंबे समय तक कलेक्ट्रेट में प्रशासनिक अधिकारी के तौर पर कार्यरत रहे।

Pithoragarh Sarthak Joshi NEET: Sarthak Joshi of Pithoragarh cleared the NEET exam
Image: Sarthak Joshi of Pithoragarh cleared the NEET exam (Source: Social Media)

पिथौरागढ़: पिथौरागढ़ के होनहार छात्र सार्थक जोशी (Pithoragarh Sarthak Joshi NEET) ने नीट परीक्षा में टॉप कर इतिहास रच दिया। सार्थक हमेशा से डॉक्टर बनना चाहते थे, अब वो अपने सपने को पूरा करने की दिशा में चल पड़े हैं। सार्थक को मेहनत करने और कभी हार न मानने की सीख अपने दादा एनडी जोशी से मिली। जो लंबे समय तक कलेक्ट्रेट में प्रशासनिक अधिकारी के तौर पर कार्यरत रहे। उनके दादा के प्रशासनिक ज्ञान की आज भी लोग तारीफ करते नहीं थकते। यही नहीं पेचीदे मामलों में प्रशासनिक अधिकारी आज भी उनसे राय लेते हैं। सार्थक ने दादा को प्रशासनिक कार्यों के लिए कड़ी मेहनत करते देखा। वो ऑफिस का काम निपटाने के बाद भी घर पर खाली नहीं बैठते थे। भूमि संबंधी मसलों का अध्ययन करते रहते थे। दादा ने सार्थक को किताबें पढ़ने के लिए प्रेरित किया। अब सार्थक उनके बताए रास्ते पर चलकर डॉक्टर बनेंगे। लोगों की सेवा करेंगे।
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  • बहन है रोल मॉडल

    Sarthak Joshi of Pithoragarh cleared the NEET exam
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    सार्थक बताते हैं कि उनकी बड़ी बहन समीक्षा जोशी उनकी रोल मॉडल हैं। दीदी ने हाईस्कूल के साथ ही नीट के लिए तैयारियां शुरू कर दी थी। नीट क्लीयर करने के बाद वो उन्हें भी टिप्स देती रहती थी। इस तरह सार्थक को महत्वपूर्ण परीक्षा की तमाम बेसिक जानकारियां घर पर ही मिल गईं। सार्थक (Pithoragarh Sarthak Joshi NEET) के पिता गिरीश जोशी बीमा कंपनी में कार्यरत हैं।

  • दादा से ली सीख

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    बेटे की सफलता से वो गदगद हैं। सार्थक (Pithoragarh Sarthak Joshi NEET) को क्रिकेट खेलने का शौक है, लेकिन नीट की परीक्षा को उन्होंने हमेशा प्राथमिकता दी। एशियन एकेडमी स्कूल में पढ़े सार्थक नियमित तौर पर सात से 8 घंटे पढ़ाई करते रहे। उनकी सफलता पर विद्यालय प्रबंधन ने भी खुशी जताई। स्कूल के प्रबंधक महामंडलेश्वर वीरेंद्रानंद गिरि ने कहा कि सार्थक की सफलता से विद्यालय का नाम रौशन हुआ है। उनकी सफलता दूसरे छात्रों को भी प्रेरित करेगी।