नैनीताल: पहाड़ की जिंदगी, पहाड़ जैसी कठिन है। एक के बाद एक समस्याएं मुंह बाये खड़ी रहती हैं। कोरोना की वजह से गांवों में पहले ही सन्नाटा पसरा है। लोगों का रोजगार छूट गया है तो वहीं जंगली जानवरों के चलते कोढ़ में खाज जैसी स्थिति बनी हुई है। पहाड़ में गुलदार का आतंक चरम पर है। लॉकडाउन के दौरान पसरे सन्नाटे की वजह से मवेशियों और इंसानों पर गुलदार के हमले की घटनाएं बढ़ गई हैं। ताजा मामला नैनीताल जिले का है। जहां जलाल गांव में एक गौशाला में घुसे गुलदार ने 80 से ज्यादा बकरियां मार दीं। घटना के बारे में जब ग्रामीणों ने सुना तो उनके होश उड़ गए। बाद में ग्रामीण किसी तरह हिम्मत जुटाकर मौके पर पहुंचे और शोर मचाना शुरू कर दिया। जिसके बाद गुलदार वहां से जंगल की तरफ भाग गया। जानकारी के मुताबिक मंगलवार रात ग्रामीण अपने घरों में सो रहे थे। आगे पढ़िए
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इसी दौरान गुलदार गांव में रहने वाले बच्ची सिंह की गौशाला में दाखिल हो गया और वहां बंधी 80 बकरियों को एक के बाद मार डाला। गौशाला में मची भगदड़ का शोर सुनकर बच्ची सिंह मौके पर पहुंचे तो वहां का नजारा देख उनके पैरों तलें जमीन खिसक गई। बाद में वन विभाग की टीम को सूचना दी गई। मौके पर पहुंची टीम ने नुकसान का आंकलन किया, साथ ही हरसंभव मदद का भरोसा भी दिया। बच्ची सिंह बकरी पालन कर गुजर-बसर करते थे। गुलदार के हमले की वजह से उन्हें लाखों का नुकसान हुआ है। उनके सामने आजीविका का संकट पैदा हो गया है। वहीं ग्रामीणों ने कहा कि गांव में गुलदार लंबे वक्त से सक्रिय है। कुछ दिन पहले गुलदार ने एक गाय और बछड़े को अपना निवाला बनाया था। ग्रामीणों ने वन विभाग से क्षेत्र में गश्त बढ़ाने के साथ ही बच्ची सिंह को उचित मुआवजा देने की मांग की।