उत्तराखंड देहरादूनRaipur MLA Umesh Sharma Cow dispute

देहरादून: विधायक काऊ के खत से मची खलबली..चुनाव से पहले BJP में ये क्या हो रहा है?

सत्ताधारी बीजेपी के लिए अपने ही विधायक मुसीबत का सबब बने हुए हैं। वन मंत्री हरक सिंह रावत जहां कोपभवन में बैठे हैं, तो वहीं अब रायपुर विधायक उमेश शर्मा काऊ ने लेटर बम फोड़कर पार्टी में खलबली मचा दी। आगे जानिए पूरी मामला

Raipur MLA: Raipur MLA Umesh Sharma Cow dispute
Image: Raipur MLA Umesh Sharma Cow dispute (Source: Social Media)

देहरादून: साल 2022 का चुनावी रण सिर पर है। तमाम राजनीतिक दल अपनी तैयारियों में जुटे हैं, लेकिन सत्ताधारी बीजेपी के लिए अपने ही विधायक मुसीबत का सबब बने हुए हैं। पार्टी के भीतर विरोध के सुर उठ रहे हैं। एक विवाद खत्म नहीं होता, कि दूसरा शुरू हो जाता है। वन मंत्री हरक सिंह रावत जहां कोपभवन में बैठे हैं, तो वहीं अब रायपुर विधायक उमेश शर्मा काऊ ने लेटर बम फोड़कर पार्टी में खलबली मचा दी है। काऊ ने पार्टी नेत्री इंदु बाला पर पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा के खिलाफ आपत्तिजनक और अशोभनीय टिप्पणी करने का आरोप लगाया है। उन्होंने इसे लेकर प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत से शिकायत की है। लेटर की कॉपी प्रदेश महामंत्री संगठन अजेय कुमार, राष्ट्रीय सह महामंत्री संगठन शिव प्रकाश और पूर्व सीएम विजय बहुगुणा को भी भेजी गई। उमेश शर्मा काऊ बीजेपी नेत्री के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। मामले के तूल पकड़ने के बाद पार्टी प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत और प्रदेश संगठन महामंत्री ने भी इंदु बाला से जानकारी ली। यहां आपको पूरा मामला भी बताते हैं। आगे पढ़िए

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रायपुर विधायक के पत्र के मुताबिक 31 अक्टूबर को उनके विधानसभा क्षेत्र के तीन मंडलों में प्रशिक्षण शिविर का आयोजन हुआ था। वीर चंद्र सिंह गढ़वाली मंडल के प्रशिक्षण कार्यक्रम के समापन के मौके पर इंदु बाला को मुख्य वक्ता बनाया गया था। आरोप है कि अपने उद्बोधन में इंदु बाला ने पूर्व सीएम और सदस्य कोर कमेटी विजय बहुगुणा के खिलाफ अशोभनीय बातें कहीं। विधायक काऊ ने कहा कि उस दौरान महानगर अध्यक्ष सीताराम और मंडल अध्यक्ष सुभाष यादव मंच पर थे, लेकिन उन्होंने इंदु बाला को बोलने से नहीं रोका। आपको बता दें कि बीजेपी नेत्री इंदु बाला को प्रदेश सरकार ने बुधवार को उत्तराखंड भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण बोर्ड का सदस्य नामित किया था। वे बोर्ड में कर्मकारों के प्रतिनिधित्व के तौर पर सदस्य बनाई गईं हैं। उन्होंने अपने ऊपर लगे आरोपों को गलत बताया। इंदु बाला बोलीं कि प्रशिक्षण वर्ग में मुझे सरकार की उपलब्धियों पर बोलना था। मैंने पूर्व सरकारों से तुलना करते हुए उनकी आलोचना की। मैंने किसी भी नेता का नाम नहीं लिया। बहरहाल पत्र लीक हो जाने के बाद बीजेपी के भीतर तूफान खड़ा हो गया है। बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने कहा कि इंदु बाला ने अपने ऊपर लगे आरोपों को खारिज किया है। वो कह रही हैं कि उन्होंने कार्यक्रम में पहले की सरकारों के बारे में ही कहा। इस बारे में उनसे अलग से पूछा जाएगा।