उत्तराखंड हरिद्वार17 food sample fail in haridwar

हरिद्वार-रुड़की में खाने लायक नहीं दूध दही घी समेत 17 खाद्य पदार्थ, सभी सैंपल फेल

हरिद्वार प्रशासन ने जिले के विभिन्न स्थानों से खाद्य पदार्थों के 54 सैंपल लिए थे। जिनमें से 17 सैंपल जांच में फेल हो गए, इनमें कई नामी कंपनियों के सैंपल भी शामिल हैं, सतर्क रहें।

Haridwar ghee sample fail: 17 food sample fail in haridwar
Image: 17 food sample fail in haridwar (Source: Social Media)

हरिद्वार: त्योहारी सीजन है। ऐसे में अगर आप दूध-घी से लेकर दूसरे खाद्य पदार्थ खरीद रहें हैं, तो थोड़ा सावधान रहें। त्योहारी सीजन में शातिर लोग आपके स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ कर सकते हैं। मिलावटी खाद्य पदार्थों के सेवन से आपका जायका और सेहत दोनों को नुकसान हो सकता है। हाल में हरिद्वार प्रशासन ने जिले के विभिन्न स्थानों से 54 खाद्य पदार्थों के सैंपल लिए थे। जिनमें से 17 खाद्य पदार्थों के सैंपल जांच में फेल हो गए। इनमें कई नामी कंपनियों के सैंपल भी शामिल हैं। अब खाद्य सुरक्षा विभाग इन कारोबारियों पर कार्रवाई करने की तैयारी में जुट गया है। जिला खाद्य सुरक्षा विभाग की ओर से अक्टूबर 2020 से मार्च 2021 के बीच 54 खाद्य पदार्थों के सैंपल भरे गए थे। टीम ने हरिद्वार, रुड़की, लक्सर और भगवानपुर सहित जनपद के अलग-अलग स्थानों से सैंपल जमा किए थे। अब रिपोर्ट आ गई है। खाद्य सुरक्षा विभाग के अनुसार घी के तीन, सरसों तेल के दो और रिफाइंड तेल के तीन सैंपल फेल हो गए।

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इसके अलावा सिंघाड़े का आटा, सोयाबीन तेल, मैदा, कलाकंद, सूजी, गाय का दूध व भैंस का दूध, बूंदी के लड्डू और मिक्स्ड मिल्क के एक-एक सैंपल फेल पाए गए हैं। अब जिला खाद्य विभाग संबंधित कारोबारियों के खिलाफ कार्रवाई की तैयारी कर रहा है। बता दें कि बीते शुक्रवार को शहर के कई इलाकों में कुट्टू के आटे से बने व्यंजन खाने से 35 से ज्यादा लोग बीमार पड़ गए थे। अब यहां खाद्य पदार्थों के 17 सैंपल जांच में फेल हो गए, जो कि बेहद गंभीर मामला है। जिला खाद्य सुरक्षा अधिकारी आरएस पाल ने बताया कि खाद्य कारोबारियों को खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम 2006 के प्रावधानों के अनुसार नोटिस जारी कर 30 दिनों के भीतर अपना पक्ष रखने का समय प्रदान किया गया है। अगर इस अवधि में कारोबारी द्वारा दोबारा जांच की अपील पेश नहीं की जाती तो उनके विरुद्ध हरिद्वार न्यायालय में केस दायर किया जाएगा।