उत्तराखंड चमोलीKuldevi not ready to leave home in Joshimath

जोशीमठ की तबाही के बीच हैरान कर रही है ये खबर, यहां घर छोड़ने को तैयार नहीं कुलदेवी

जोशीमठ के चन्द्रवल्लभ पांडे का कहना है कि उनके घर में स्थापित कुलदेवी घर छोड़ने को तैयार नहीं हैं।

Joshimath sinking latest update: Kuldevi not ready to leave home in Joshimath
Image: Kuldevi not ready to leave home in Joshimath (Source: Social Media)

चमोली: जोशीमठ धीरे धीरे तबाह हो रहा है। लोग अपने घरों को छोड़ने के लिए मजबूर हैं। कई घर खाली हो चुके हैं और लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है।

Kuldevi not ready to leave home in Joshimath

मगर घर केवल सीमेंट और पत्थरों के ढांचे नहीं होते। उनसे लोगों का जुड़ाव होता है। जगहें और घर छोड़ पाना कठिन होता है। मगर जोशीमठ में आज यह सब कुछ हो रहा है। प्रशासन असुरक्षित घरों से लोगों को राहत शिविरों में पहुंचा रहा है। पुरखों की ओर से बनाए और अपनी जमा पूंजी लगाकर खड़े किए सपनों के घरों को छोड़ते समय लोगों की आंखें नम हो रही हैं। लोग भारी मन से घर का सामान कंधे पर रखकर शिविरों की ओर रुख कर रहे हैं। यह खबर मनोहर बाग वार्ड के चंद्रवल्लभ पांडे के घर की है जहां कुल देवी अपने मूल स्थान से कहीं और जाने को तैयार नहीं हैं। यहां रहने वाले चंद्र बल्लभ पांडे के घर में बने कुलदेवी के मंदिर में भी बड़ी-बड़ी दरारें पड़ गई हैं। आगे पढ़िए

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पुनर्वास के समय जब उन्होंने अपने घर में स्थापित कुलदेवी को हटाने की कोशिश की तो वे असफल रहे। चंद्र बल्लभ ने मकान छोड़ दिया है वे प्रशासन के राहत शिविर में चले गए हैं। मगर अब भी वह हर दिन मंदिर में पूजा करने आते हैं। उनका कहना है कि उन्होंने मंदिर से देवी को भी शिफ्ट करने की कोशिश की लेकिन देवी अपने मूल स्थान को छोड़ने के लिए तैयार नहीं हैं। वह कई बार कोशिश कर चुके हैं। जैसे ही वे मंदिर से मूर्ति को उठाने का प्रयास करते हैं देवी उन्हें धक्का दे देती हैं। इसलिए वह हर दिन यहां पूजा करने के लिए आते हैं।आपको बता दें कि जोशीमठ में प्रशासन ने जिन घरों को डेंजर जोन घोषित कर दिया है उनको तत्काल प्रभाव से खाली करवा कर राहत शिविरों में भेजा जा रहा है। जिन घरों को प्रशासन ने असुरक्षित घोषित कर दिया है वहां रहने वाले लोग अब अपने घर छोड़कर शिविर में जा रहे हैं।