रुद्रप्रयाग: मॉनसून का सीजन बस आने ही वाला है और मॉनसून के सीजन में केदारनाथ यात्रा खतरे से खाली नहीं होती है।
Kedarnath Yatra Rules will change in monsoon
बरसात में केदारनाथ यात्रा सुरक्षित तरीके से संचालित हो इसके लिए सोनप्रयाग से केदारनाथ तक सार्वजनिक उद्घोषणा सिस्टम (पब्लिक एड्रस सिस्टम) विकसित किया जाएगा। रोजाना पांच से छह हजार यात्री ही सोनप्रयाग से केदारनाथ यात्रा कर पाएंगे। बता दें कि बरसात के दौरान गौरीकुंड से लेकर छौड़ी, चीरबासा, जंगलचट्टी, भीमबली, यार कल लिनचोली, छानी कैंप के बीच बरसात में पहाड़ी से पत्थर गिरने का खतरा बना रहता है। इसी साथ ही रामबाड़ा से छानी कैंप तक एवलांच जोन है। ऐसे में बरसात में यहां यात्रियों को किसी प्रकार की कोई दिक्कत न हो इसके लिए प्रशासन ने कार्ययोजना तैयार कर दी है। इन पड़ावों पर यात्रियों की सुरक्षा का पूरा ख्याल रखा जाएगा। वहीं लाउडस्पीकर के जरिए यात्रियों को मौसम और पैदल मार्ग के बारे में बताया जाएगा। इसी के साथ ही तेज बारिश और रास्ता अवरूद्ध होने की स्थिति में सोनप्रयाग व केदारनाथ से यात्रियों को आगे नहीं जाने दिया जाएगा।