हरिद्वार: मां बगलामुखी महायज्ञ स्थल भैरव घाट, श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े से शिवशक्ति धाम डासना के पीठाधीश्वर व श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी महाराज ने पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों की धमकी से त्रस्त हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री धामी को रक्त से पत्र लिखा है।
Yeti Narasimhanand wrote letter written by blood to CM Dhami
पत्र में महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी ने लिखा कि वह और उनके कुछ साथी बांग्लादेश, पाकिस्तान सहित भारत में हिंदुओं के चल रहे नृशंस नरसंहार से व्यथित हैं। इसके लिए माया देवी मंदिर श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े में 19,20 और 21 दिसंबर को विश्व धर्म संसद का आयोजन किया जा रहा है। यह आयोजन किसी सार्वजनिक स्थान पर नहीं, बल्कि अखाड़े के मुख्यालय पर हो रहा है।
क्या बाकी धर्मों द्वारा ली जाती है अनुमति ?
यति नरसिंहानंद ने कहा कि माया देवी मंदिर के अंदर होने वाले ऐसे किसी कार्यक्रम के लिए कोई अनुमति की आवश्यकता नहीं है, लेकिन हरिद्वार के प्रशासनिक व पुलिस अधिकारी शायद हम हिंदुओं को दोयम दर्जे का नागरिक मानते हैं और हम पर इसके लिए अनुमति मांगने का दबाव बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि वह मुख्यमंत्री से जानना चाहते हैं कि क्या मस्जिद, चर्च या गुरुद्वारे में ऐसे किसी आयोजन के लिए कभी कोई अनुमति मांगी गई या कभी प्रदान की गई है? फिर हम पर ही क्यों यह दबाव बनाया जा रहा है?
जूना अखाड़े में विश्व धर्म संसद की अनुमति दें मुख्यमंत्री
यति नरसिंहानंद ने मुख्यमंत्री धामी से अनुरोध किया कि यह बहुत जरूरी है तो उन्हें बांग्लादेश, पाकिस्तान सहित भारत में अपने धर्म बंधुओं के नृशंस नरसंहार पर विलाप करने के लिए माया देवी मंदिर श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े में विश्व धर्म संसद आयोजित करने की अनुमति प्रदान करने की कृपा करें। उन्होंने इस पत्र की कॉपी हरिद्वार जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक व सिटी मजिस्ट्रेट को भी अपने शिष्यों के हाथों भिजवाई है।