उत्तराखंड चमोलीbadrinath gates open year 2020 photos

वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ सुबह 4.30 बजे खुले बदरी धाम के कपाट, दर्शन की पहली तस्वीरें देखिये

मंत्रोचारण के साथ सुबह 4.30 बजे खुले बदरी धाम के कपाट..10 क्विंटल फूलों से सजाया गया मंदिर.. लगभग 30 लोगों की उपस्थिति में खुले कपाट

Badrinath Dham Gates Open 2020: badrinath gates open year 2020 photos
Image: badrinath gates open year 2020 photos (Source: Social Media)

चमोली: आज सुबह 4.30 बजे बदरीनाथ धाम के कपाट इस वर्ष मनुष्य पूजा के लिए खोल दिए गए। कपाट खोलने की प्रक्रिया ब्रह्म मुहूर्त में प्रातः 3 बजे से ही शुरू हो गई थीं। बदरीनाथ रावल ईश्वर प्रसाद नंबूदरी द्वारा विशेष पूजा-अर्चना की गई। इस दौरान गुरु शंकराचार्यजी की गद्दी, उद्धवजी, कुबेरजी की पूजा की गई। बदरी धाम के कपाट खुलने के बाद लक्ष्मी माता को मंदिर में स्थापित किया इसके बाद भगवान बदरीनाथ का तिल के तेल अभिषेक किया गया। हर साल हजारों भक्तों के सामने खोले जाने वाले कपाट इस साल लॉकडाउन की वजह से लगभग 11 लोगों ही उपस्थिति में ही खुले। सभी ने सोशल डिस्टेंसिंग नियमों का पालन किया।

  • मंत्रोच्चारण के साथ सुबह 4.30 बजे खुले बदरी धाम के कपाट

    badrinath dham gate opening year 2020
    1/ 4

    मंत्रोचारण के साथ सुबह 4.30 बजे खुले बदरी धाम के कपाट

  • 10 क्विंटल फूलों से सजाया गया मंदिर

    badrinath dham gate opening year 2020
    2/ 4

    वर्ष 2020 में मनुष्यों की पूजा के लिए कपाट खोलने के अवसर पर बदरीनाथ मंदिर को 10 क्विंटल फूलों से सजाया गया था

  • 11 लोगों की उपस्थिति में खुले कपाट

    badrinath dham gate opening year 2020
    3/ 4

    इस साल लॉकडाउन की वजह से 11 लोगों ही उपस्थिति में ही खुले। सभी ने सोशल डिस्टेंसिंग नियमों का पालन किया।

  • जय बदरी विशाल

    badrinath dham gate opening year 2020
    4/ 4

    आज सुबह 4.30 बजे बदरीनाथ धाम के कपाट इस वर्ष मनुष्य पूजा के लिए खोल दिए गए। कपाट खोलने की प्रक्रिया ब्रह्म मुहूर्त में प्रातः 3 बजे से ही शुरू हो गई थीं। कपाट खुलने के पश्चात मंदिर में शीतकाल में ओढे गये घृत कंबल को प्रसाद के रूप में वितरित किया गया। माणा गांव द्वारा तैयार हाथ से बुने गये घृतकंबल को कपाट बंद होने के अवसर पर भगवान बद्रीविशाल को ओढ़ाया जाता है। श्री बदरीनाथ धाम के कपाट खुलने के साथ ही मानवमात्र के रोग शोक की निवृत्ति, आरोग्यता एवं विश्व कल्याण की कामना की गयी‌। भगवान बदरीविशाल की प्रथम पूजा-अर्चना प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी की तरफ से मानवता के कल्याण आरोग्यता हेतु संपन्न की जा रही है। आन लाईन बुक हो चुकी पूजाओं को यात्रियों की ओर से उनके नाम संपादित किया जायेगा।