उत्तराखंड STORY OF polish girl WHO WANTS TO LIVE IN UTTARAKHAND

देवभूमि में रहना चाहती है 11 साल की ये विदेशी बच्ची..PM मोदी को खत भेजकर लगाई गुहार

11 साल की यूरोपीय बच्ची एलिजा ने पीएम नरेंद्र मोदी को खत लिखकर भारत में आसरा देने की गुहार लगाई है...देखिए तस्वीरें और वो चिट्ठी

उत्तराखंड: STORY OF polish girl WHO WANTS TO LIVE IN UTTARAKHAND
Image: STORY OF polish girl WHO WANTS TO LIVE IN UTTARAKHAND (Source: Social Media)

: बाबा केदार की महिमा अनंत है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर अरबपति मुकेश अंबानी तक बाबा केदार के आध्यात्मिक आकर्षण से बंधे नजर आते हैं...जब बात भक्ति की आती है तो क्या देश क्या विदेश, आस्था भला सीमाएं कहां देखती है और आध्यात्म तो ब्रह्मांड की सीमाओं से ही परे है..ये वो शिव तत्व है, जिसे किसी शब्द...किसी भाव की परिधि में बांधा ही नहीं जा सकता...बाबा केदार की ऐसी ही अनन्य भक्त है 11 साल की एलिजा वानात्को, यूं तो वो यूरोप की रहने वाली हैं पर भारत से एलिजा और उनकी मां का अटूट रिश्ता है। एलिजा और उनकी मां मारटा कोटलारस्का की केदारनाथ में अगाध श्रद्धा है। एलिजा को उत्तराखंड से बेहद प्यार है, वो कभी भारत छोड़कर नहीं जाना चाहतीं। 11 साल की एलिजा वानात्को इन दिनों सुर्खियों में है और चर्चा की वजह है वो लेटर जो कि एलिजा ने पीएम नरेंद्र मोदी को लिखते हुए, उनसे भारत में ठहरने की इजाजत मांगी है।

  • एलिजा ने पीएम मोदी को अपने हाथ से एक लेटर लिखा

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    दरअसल एलिजा वानात्को और उनकी मां को भारत में तय अवधि से ज्यादा ठहरने की वजह से ब्लैकलिस्ट किया गया है। हाल ही में एलिजा ने पीएम मोदी को अपने हाथ से एक लेटर लिखा और उनसे भारत में रहने की इजाजत मांगी। इस लेटर में पीएम मोदी के साथ ही विदेश मंत्री एस.जयशंकर को भी संबोधित किया गया है।

  • एक-एक शब्द उनके भारत प्रेम को दर्शाता है

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    एलिजा के इस लेटर का एक-एक शब्द उनके भारत प्रेम को दर्शाता है। इसमें एलिजा ने लिखा है कि उन्हें भगवान शिव से, यहां की खूबसूरत प्रकृति से और नंदादेवी से प्यार है। उन्होंने लिखा कि मेरी मां को 24 मार्च, 2019 को भारत में दाखिल नहीं होने दिया गया, कहा गया कि हमें ब्लैकलिस्ट कर दिया गया है। क्योंकि हम तय अवधि से अधिक ठहरे थे। बता दें कि एलिजा की मां मारटा कोटलारस्का ने अप्रैल में तत्कालीन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से भी मदद मांगी थी।

  • मारटा कोटलारस्का एक आर्टिस्ट और फोटोग्राफर हैं

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    उनका कहना था कि उत्तराखंड के चमोली के फॉरन रीजनल रजिस्ट्रेशन ऑफिस ने "एक गलतफहमी" की वजह से उन्हें तय अवधि से ज्यादा ठहरने के चलते ब्लैकलिस्ट कर दिया है। मारटा कोटलारस्का एक आर्टिस्ट और फोटोग्राफर हैं। वो अपने भारतीय वीजा को रिन्यू करने के लिए श्रीलंका गई थीं, लेकिन भारतीय अधिकारियों ने उन्हें 24 मार्च को वापस भेज दिया था।

  • उत्तराखंड प्रेम साफ देखा जा सकता है

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    तस्वीरों में इनका भारत और उत्तराखंड प्रेम साफ देखा जा सकता है। दोनों मां बेटी फिलहाल कंबोडिया में हैं, और भारत लौटने का इंतजार कर रही हैं। एलिजा और मारटा कहती हैं कि वो भले ही भारतीय ना हों पर भारत उनका घर है। वो हिंदुत्व और आध्यात्मिकता से जुड़ चुके हैं।

  • कृपया हमारी मदद करें

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    अपने खत में नन्हीं एलिजा लिखती हैं कि "मुझे ऐसा लग रहा है कि सबकुछ दोबारा से खत्म हो गया है। मैं भगवान शिव और नंदा देवी से मदद करने के लिए प्रार्थना मांग रही हूं और मैंने आपको खत इसलिए लिखा क्योंकि आप सबसे शक्तिशाली व्यक्ति हो, जो मेरी और मेरी मां की भारत, हमारे घर आने में मदद कर सकते हो। कृपया हमारी मदद करें और हमें ब्लैकलिस्ट से हटाने की मंजूरी दें।"

  • पीएम मोदी से भी मदद की गुहार

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    भई भगवान शिव के इन भक्तों का भारत में रहना तो बनता है, एलिजा और उनकी मां मारटा ने भगवान भोलेनाथ के साथ ही ही उनके भक्त पीएम मोदी से भी मदद की गुहार लगाई है...अब तो बस ‘तथास्तु’ का इंतजार है।