उत्तराखंड पिथौरागढ़Nepal helipad on Uttarakhand border

उत्तराखंड: बॉर्डर पर हेलीपैड बना रहा है नेपाल, सुरक्षा बल सतर्क..बढ़ाई गई चौकसी

नेपाल बार्डर पर नेपाली सुरक्षा बलों की तैनाती लगातार बढ़ती जा रही है। नेपाल अपनी सीमा में तेजी से सड़क निर्माण का कार्य कर रहा है। साथ ही नेपाल ने धारचूला बॉर्डर पर काली नदी के पास हेलीपैड भी बनाया है...

Uttarakhand Nepal Border Helipad: Nepal helipad on Uttarakhand border
Image: Nepal helipad on Uttarakhand border (Source: Social Media)

पिथौरागढ़: भारत-नेपाल बॉर्डर पर टेंशन बढ़ रही है। भारतीय क्षेत्र को अपने नक्शे में शामिल करने के बाद अब नेपाल, भारत की सीमा पर अपना सुरक्षा तंत्र मजबूत करने में जुटा हुआ है। नक्शे पर विवाद के बाद अब नेपाल भारत से सटे एरिया में ना सिर्फ सड़कें बना रहा है, बल्कि यहां हेलीपैड भी बनाए जा रहे हैं। धारचूला से लगी सीमाओं पर काली नदी के पास नेपाल एक हेलीपैड तैयार कर रहा है। दार्चुला से तिंकर तक पैदल रास्ते के साथ ही एक अस्थाई टिन शेड भी बनाया गया है। टाइम्स नेटवर्क की खबर की मानें तो नेपाल उत्तराखंड में भारतीय सीमा पर सुरक्षा बलों की संख्या बढ़ा रहा है। अब उसने बॉर्डर पर हेलीपैड बनाना भी शुरू कर दिया है। पिथौरागढ़ जिले के धारचूला से लगी सीमाओं में नेपाल ने सैन्य गतिविधियां तेज कर दी हैं। चीन का साथ देने के लिए नेपाल भारत को आंख दिखा रहा है। आगे पढ़िए

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खबर में बताया गया है कि नेपाल ने काली नदी के पास एक हेलीपैड बनाया है। जो कि भारतीय क्षेत्र मालपा के सामने अंतरराष्ट्रीय सीमा पर स्थित है। यहां नेपाल अस्थायी टिन शेड का निर्माण भी कर रहा है। नेपाल दार्चुला से तिंकर तक पैदल रास्ते का निर्माण भी करा रहा है, ताकि भारत पर निर्भरता कम कि जा सके। वहीं नेपाल में हो रही गतिविधियों को देखते हुए भारतीय सुरक्षा एजेंसियों ने भी अंतरराष्ट्रीय सीमा पर गश्त बढ़ा दी है। नेपाल की तरफ से कोई भी अवांछित गतिविधि न हो इसके लिए भारत नेपाल सीमा पर तैनात एसएसबी ने अपने जवानों की संख्या धारचूला से कालापानी तक बढ़ा दी है। इसी बीच ये खबर भी आई है कि नेपाल के नेता गोरखा नागरिकों से भारतीय सेना का हिस्सा ना बनने की अपील कर रहे हैं। वो गोरखा रेजीमेंट के नेपाली नागरिकों से भारत ना लौटने की अपील कर रहे हैं।

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आपको बता दें कि नेपाल ने भारत के कालापानी, लिपुलेख और लिम्पियाधुरा को अपने नक्शे में शामिल कर लिया है। जिसे लेकर भारत और नेपाल के संबंधों में तनाव चल रहा है।उधर नेपाल की संसद ने विवादित नक्शे को हरी झंडी दी है। इस लविवादित नक्शे में उत्तराखंड के लिपुलेख, काला पानी और लिम्पियाधुरा को नेपाल ने अपने इलाके में दिखाया है। उधर प्रतिबंधित कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल के नेता बिक्रम चंद ने काठमांडू में नेतृत्व से अपील की है कि गोरखा नागरिकों को भारतीय सेना का हिस्सा बनने से रोका जाए। बिक्रम चंद का कहना है कि 'गलवान घाटी में भारतीय जवानों के मारे जाने के बाद तनाव बढ़ा। इसके तुरंत बाद भारत ने गोरखा रेजिमेंट के सिपाहियों अपील की है कि वे अपनी छुट्टियां रद्द करके ड्यूटी पर वापस आएं। इसका मतलब है कि भारत हमारे नेपाली नागरिकों को चीन के खिलाफ सेना में उतारना चाहता है।' उधर केंद्र सरकार को उत्तराखंड बॉर्डर पर घट रही हर गतिविधि की जानकारी पहुंचाई जा रही है।