उत्तराखंड श्रीनगर गढ़वालWoman gave birth to three babies in uttarakhand

उत्तराखंड: 28 वर्षीय महिला ने 3 बच्चों को दिया जन्म, 10 दिन इलाज के बाद स्वस्थ हैं दो भाई एक बहन

10 दिनों के लम्बे इलाज के बाद मां एवं तीनों बच्चे स्वस्थ, डॉक्टरों को तमाम मुश्किलों पर मिली जीत।

Woman gave birth to three babies: Woman gave birth to three babies in uttarakhand
Image: Woman gave birth to three babies in uttarakhand (Source: Social Media)

श्रीनगर गढ़वाल: बेस चिकित्सालय श्रीकोट में भैटी गांव नंदानगर घाट क्षेत्र की 28 वर्षीय नेहा ने 3 बच्चों को जन्म दिया। डॉक्टरों की टीम ने 10 दिनों के इलाज के बाद महिला के बच्चों को एक नया जीवनदान दिया।

Woman gave birth to three babies in uttarakhand

उत्तराखंड में एक ऐसा वाकया सामने आया है जिसके बाद से लोगों का डॉक्टरों पर भरोसा और मजबूत हो गया है। 9 मार्च को बेस चिकित्सालय के गायनी विभाग में चमोली के भैटी गांव की 28 वर्षीय नेहा को भर्ती किया गया। जिसके बाद गायनी विभाग के एचओडी डॉ. नवज्योति बोरा ने महिला का सुरक्षित प्रसव कराया। डॉ. अंकिता गिरी ने बताया कि बच्चे समय से पहले बच्चे जन्मे, जिस कारण वे काफी कमजोर थे। डॉक्टर की देखरेख में उनका इलाज चला। जिसके बाद नीक्कू वार्ड में बच्चों को भर्ती कर पूरा ट्रीटमेंट दिया गया और कंगारू मदर केयर से लेकर तमाम सलाह व ट्रैनिंग मां व परिजनों को दी गई। जिसके बाद बच्चे और माँ स्वस्थ हैं और उन्हें अस्पताल से छुट्टी दी गई। 28 वर्षीय नेता पत्नी कमल सिंह ने दो बेटे और एक बेटी को जन्म दिया।

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हॉस्पिटल में ही किया बच्चों का नामकरण

28 वर्षीय नेता पत्नी कमल सिंह ने दो बेटे और एक बेटी को जन्म दिया। 10 दिन बेस चिकित्सालय श्रीकोट, श्रीनगर गढ़वाल में रहने पर ही, उनका नामकरण कर दिया गया था। पति कमल सिंह ने बताया कि एक बेटे का नाम अक्षांश, दूसरे बेटे का नाम अंयाश तथा उनकी बहन का नाम अंशिका रखा गया। कमल सिंह मस्कट ओमान में होटल में काम करते हैं लेकिन पिछले 6 महीने से पत्नी की देखभाल के लिए घर पर हैं।

परिजनों ने डॉक्टरों का जताया आभार

बेहतर इलाज मिलने पर सभी परिजनों ने डॉक्टरों का आभार जताया और कहा कि डॉक्टरों ने माँ और बच्चों को बेहतर तरीके से देखभाल किया इसके लिए हम सभी डॉक्टरों का आभार प्रकट करते हैं और साथ में स्वास्थ्य मंत्री डॉ धन सिंह रावत व मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के साथ शासन-प्रशासन को भी धन्यवाद देना चाहते हैं। जो उन्होंने सरकारी अस्पताल में इस तरह की स्वास्थ्य सुविधाओं का प्रबंधन किया है।