उत्तराखंड हरिद्वारKanwarias will not come from other states in Uttarakhand

उत्तराखंड में दूसरे राज्यों से नहीं होगी कांवड़ियों की एंट्री, 10 इलाकों में कड़ा पहरा

सावन मास में हरिद्वार पुलिस कांवड़ियों को सुरक्षित गंतव्य तक पहुंचाने के लिए सेवारत रहती थी, लेकिन इस बार पुलिस कांवड़ियों के हर बढ़ते कदम को रोकने के लिए तैनात रहेगी...

Uttarakhand kawad yatra: Kanwarias will not come from other states in Uttarakhand
Image: Kanwarias will not come from other states in Uttarakhand (Source: Social Media)

हरिद्वार: कोरोना संक्रमण का असर कांवड़ यात्रा पर भी पड़ा है। कांवड़ यात्रा पर रोक लगा दी गई है। कांवड़ियों के प्रदेश में एंट्री पर बैन है। आमतौर पर पुलिस कांवड़ियों को सुरक्षित गंतव्य तक पहुंचाने के लिए तैनात रहा करती थी, लेकिन इस साल ऐसा नहीं होगा। इस बार पुलिस कांवड़ियों के हर बढ़ते कदम को रोकने के लिए तैनात रहेगी। कांवड़ यात्रा स्थगित होने के कारण कांवड़ियों को किसी भी कीमत पर उत्तराखंड में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा। हरिद्वार पुलिस ने पूरी तैयारी कर ली है। पुलिस के साथ पीएसी के जवान भी आज से सीमावर्ती क्षेत्र में मोर्चा संभाल लेंगे। डीजीपी लॉ एंड ऑर्डर अशोक कुमार के निर्देश पर हरिद्वार जिले को पीएसी की 3 कंपनियां आवंटित की गई हैं।

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श्रावण मास की शुरुआत के साथ 6 जुलाई से कांवड़ यात्रा शुरू होनी थी, लेकिन कोरोना के खतरे को देखते हुए यात्रा स्थगित कर दी गई। कांवड़ियों के उत्तराखंड में प्रवेश को रोकने के लिए बॉर्डर पर चौकसी भी बढ़ा दी गई है। लोगों से अपील की जा रही है कि जहां भी कांवड़िए दिखें, तुरंत पुलिस को सूचना दें। हरिद्वार पुलिस ने ऐसी 10 जगहों को चिह्नित किया है, जहां से कांवड़िए चोरी-छिपे हरिद्वार में दाखिल हो सकते हैं। इस बात को ध्यान में रखते हुए सील सीमाओं पर चौकसी और बढ़ा दी गई है। इसके लिए पीएसी की मदद ली जा रही है। एसएसपी डी सेंथिल अबूदई कृष्णराज एस ने पुलिस फोर्स को से कहा कि कांवड़ियों को किसी भी सूरत में जिले में ना आने दिया जाए।

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हरिद्वार जिले के उन इलाकों के बारे में भी जान लें जो उत्तराखंड को यूपी से जोड़ते हैं। इनमें पुरकाजी, नारसन, लखनौता, सप्तऋषि, चिड़ियापुर बॉर्डर, तेज्जुपुरा, तेलपुरा, मंडावर, काली नदी और बालावाली जैसे इलाके शामिल हैं। यहां कांवड़ियों की एंट्री रोकने के लिए यूपी पुलिस से भी मदद ली जा रही है। इन इलाकों में पुलिस के साथ पीएसी की 3 कंपनियां तैनात रहेंगी। पीएसी की एक कंपनी में 120 जवान होते हैं। बता दें कि कांवड़ यात्रा स्थगित होने के बाद भी आशंका जताई जा रही है कि बाहरी राज्यों से शिवभक्त गंगाजल भरने हरिद्वार आ सकते हैं। ऐेसे में उत्तराखंड सहित आसपास के प्रदेशों की पुलिस ने श्रद्धालुओं को रोकने की रणनीति बनाई है। हरिद्वार पुलिस और प्रशासन ने लोगों से सहयोग की अपील की। साथ ही कहा कि अगर क्षेत्र में कहीं भी कांवड़िए दिखें तो तुरंत पुलिस को सूचना दें।