उत्तराखंड honesty in uttarakhand

उत्तराखंडियों में कूट-कूटकर भरी है ईमानदारी..इन आम लोगों ने भी ये बात सच साबित की

वास्तव में अच्छा लगता है, जब ईमानदारी की ऐसी अच्छी खबरें देवभूमि से आती हैं। विश्वास हो जाता है कि ईमानदारी देवभूमि के लोगों में कूट-कूटकर भरी है।

उत्तराखंड: honesty in uttarakhand
Image: honesty in uttarakhand (Source: Social Media)

: उत्तराखंड...अच्छे और ईमानदार लोगों का राज्य कहा जाता है। यहां कदम कदम पर आपको कुछ ऐसे लोग भी मिलेंगे, जो आपकी परेशानी और आपके दर्द को भली-भांति समझते हैं। ऐसा ही एक किस्सा रुद्रप्रयाग जिले के गुप्तकाशी के रिटायर्ड प्रिंसिपल कृष्णा नन्द नौटियाल के साथ घटिल हुआ है। दरअसल कृष्णा नन्द नौटियाल अपनी पत्नी पुष्पा नौटियाल के इलाज के लिए ऋषिकेश एम्स आए हुए थे। इस दौरान वो अपनी पत्नी को चेकअप के लिए एम्स अस्पताल ले गए। इस दौरान उनका पर्स खो गया था। एक तो पहाड़ के दूर-दराज क्षेत्र से आए हुए, दूसरे में पत्नी का इलाज और सबसे संकट की बात ये कि पर्स ही खो गया। खास बात ये है कि उनके पर्स में कैश के अलावा साइन किए हुए ब्लैंक चेक भी थे। इसके अलावा एटीएम, पैन कार्ड, डिपार्टमेंटल आईडी, आधार कार्ड भी पर्स में थे।

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सुबह पर्स खोया तो दिन भर वो परेशान होकर दर-दर भटकते रहे। शाम को वापस जाने लगे तो उन्हें एक कॉल आ गई। ये कॉल खुशखबरी की कॉल थी..कृष्णा नन्द नौटियाल को फोन पर बताया गया कि उनकी आईडी और तमाम कागजातों के साथ पर्स पड़ा मिला है। खुशी के मारे जब वो मौके पर पहुंचे तो देखते हैं कुछ लोग उनका इंतजार कर रहे हैं। साथ में एक छोटी उम्र का बच्चा भी था और उसी को वो पर्स मिला था। लोगों की बातचीत की तो पता चला कि वो सभी एम्स के बगल में ही डीके शर्मा एसोसिएट्स में काम करते हैं। बृज मोहन, आलोक कुमार, कृष्णा, कपिल देव, करण, गणेश कुमार, विपिन कुमार और तमाम लोगों का रिटायर्ड प्रिंसिपल ने धन्यवाद अदा किया। ये वो लोग हैं, जो छोटी-छोटी नौकरियों पर काम करते हैं लेकिन दिल में कभी लालच नहीं रखा वास्तव में ऐसी छोटी छोटी खबरें ही दिल में खुशी का भाव जगाती हैं और देवभूमि में रह रहे लोगों पर भरोसा दिखाती हैं।